अमृतसर में निरंकारी सत्संग पर ग्रेनेड से हुए हमले ने कई गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। 1980 के दशक में सिखों और निरंकारियों के बीच के हिंसक टकराव ने ही पंजाब में आतंकवाद के खूनी दौर की शुरुआत की थी। आशंकाएं खड़ी हो रही हैं कि कहीं पंजाब में फिर से इसकी शुरुआत तो नहीं हो रही।from Navbharat Times https://ift.tt/2A4mUOL
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