ऐपल एक्जिक्यूटिव विवेक तिवारी के शरीर में गोली लगी हुई थी.. लेकिन तब भी वह अपनी कलीग और उस रात के हादसे की एकमात्र चश्मदीद गवाह सना खान को बचाने की कोशिश करते रहे। सना कहती हैं, 'जितनी जान बची थी उनमें, उतने में वह आगे गाड़ी बढ़ाते रहे... वह गाड़ी बढ़ाते रहे और कुछ दूरी पर स्थित एक खंभे से कार टकरा गई और वह अपनी सीट पर पीछे की ओर गिर गए और उनका सिर एक ओर झुक गया।from Navbharat Times https://ift.tt/2y95tvu
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